राजनीतिक भागीदारी और आयोग गठन पर जोर: केंद्र सरकार के साथ महत्वपूर्ण वार्ताएं

दिल्ली में सांस्कृतिक भवन की मांग, महिलाओं और युवाओं के लिए विशेष योजनाएं

शिक्षा और आर्थिक सशक्तिकरण के लिए ‘विज़न 2027’ की घोषणा

खादी और आदिवासी उत्पादों को वैश्विक स्तर पर पहुंचाने की नई पहल

राजनीतिक, व्यापारिक और सामाजिक क्षेत्रों में एकता पर फोकस”

प्रवासी कार्य: हर राज्य में संगठन विस्तार और दिसंबर में समीक्षा बैठक

राजनीतिक प्रतिनिधित्व: आगामी चुनावों में टिकट और भागीदारी की मांग

आर्थिक योजनाएं: फ्लाई ऐश ब्रिक्स और छत्तीसगढ़ी उत्पादों को वैश्विक बाजार में ले जाने की पहल

महिला सशक्तिकरण: नई योजनाओं पर साध्वी निरंजन ज्योति का मार्गदर्शन

समाज का संगठनात्मक विस्तार: दिसंबर में राज्यवार समीक्षा

एकजुटता पर जोर: छोटे गुटों को मिलाकर समाज की शक्ति बढ़ाने का आह्वान

 

       नई दिल्ली। अखिल भारतीय आदिवासी कश्यप कहार निषाद भोई समन्वय समिति ने राष्ट्रीय संयोजक श्री राजाराम कश्यप के नेतृत्व में केंद्र सरकार और विभिन्न राजनीतिक दलों के साथ समाज के उत्थान और प्रतिनिधित्व से जुड़ी मांगों को लेकर महत्वपूर्ण वार्ताएं कीं। तीन दिवसीय प्रवास के दौरान समिति ने समाज के विकास के लिए कई ठोस सुझाव दिए और समर्थन का आश्वासन प्राप्त किया।

मुख्य मांगें और चर्चाएं

  1. राजनीतिक प्रतिनिधित्व:
    समाज को उचित राजनीतिक भागीदारी दिलाने और आगामी चुनावों में प्रतिनिधियों को टिकट दिलाने पर जोर दिया गया।
  2. आयोग/बोर्ड का गठन:
    समाज की समस्याओं का त्वरित समाधान और उत्थान के लिए एक विशेष आयोग या बोर्ड गठित करने की मांग की गई।
  3. दिल्ली में भवन निर्माण:
    समाज के सांस्कृतिक और सामाजिक कार्यों के लिए दिल्ली में जमीन आवंटित करने की अपील की गई।
  4. महिलाओं और युवाओं के लिए विशेष कार्यक्रम:
    महिलाओं के सशक्तिकरण और युवाओं की राजनीति में भागीदारी बढ़ाने के लिए योजनाएं बनाने पर विचार हुआ।

महत्वपूर्ण मुलाकातें और उनके परिणाम

  1. श्री धर्मवीर कीर (राजस्थान):
    • राजस्थान में जलपोषित समाज को अभी तक प्रदेश स्तरीय जिम्मेदारी न मिलने पर नाराजगी जताई।
    • छोटे गुटों में बंटे समाज को एकजुट करने की जरूरत बताई।
  2. केंद्रीय जल शक्ति राज्य मंत्री डॉ. राजभूषण चौधरी:
    • समाज के प्रतिभाशाली बच्चों के लिए विशेष शैक्षिक परियोजना तैयार करने का सुझाव दिया।
    • समन्वय समिति द्वारा अब तक की तैयारियों की समीक्षा की और दिशा-निर्देश दिए।
  3. पूर्व केंद्रीय मंत्री साध्वी निरंजन ज्योति:
    • महिलाओं के सशक्तिकरण से संबंधित योजनाओं पर मार्गदर्शन दिया।
    • “अम्मा” अमृतानंदमयी देवी से प्रेरणा लेकर समाजहित को सर्वोपरि रखने का आग्रह किया।
  4. सांसद श्री बाबूराम निषाद (उत्तर प्रदेश):
    • समाज को राजनीतिक प्रतिनिधित्व दिलाने और युवाओं की भागीदारी बढ़ाने का आश्वासन दिया।
  5. सांसद श्री कृपानाथ मल्लाह (असम):
    • व्यापार और संगठन विस्तार में रुचि दिखाई।
    • पूर्वोत्तर भारत में समाज के विस्तार पर चर्चा की।

व्यापार और आर्थिक उत्थान पर जोर

समिति के प्रतिनिधियों ने भारत मंडपम में खादी ग्रामोद्योग और आदिवासी उत्पादों के व्यापारिक संभावनाओं को समझा।

  • फ्लाई ऐश ब्रिक्स, कोदो-कुटकी और छत्तीसगढ़ के उत्पादों को वैश्विक बाजार में पहुंचाने की योजनाएं बनाई गईं।
  • व्यापार प्रकोष्ठ ने आर्थिक सशक्तिकरण के लिए नई परियोजनाओं पर कार्य शुरू किया।

आगामी कार्ययोजनाएं

  1. विज़न 2027:
    • सभी राज्यों में कार्यकारिणी का गठन।
    • समाज के प्रचारकों की नियुक्ति और संगठन का विस्तार।
  2. राज्यवार समीक्षा:
    • दिसंबर 2024 में प्रत्येक प्रदेश कार्यकारिणी के कार्यों की समीक्षा होगी।
    • समाज के विकास के लिए नई योजनाओं को अंतिम रूप दिया जाएगा।
  3. सामाजिक एकता:
    • समाज के सभी वर्गों को एकजुट करने और सक्रिय योगदान के लिए प्रेरित किया जाएगा।

समाजसेवियों के लिए अपील

       समिति ने इच्छुक समाजसेवियों से आग्रह किया है कि वे संगठन से जुड़ें और अपने विचार साझा करें। समाज की प्रगति के लिए सभी को मिलकर प्रयास करने की आवश्यकता है।

       दिल्ली प्रवास के दौरान कश्यप समाज ने सामाजिक, शैक्षिक, आर्थिक और राजनीतिक स्तर पर अपने अधिकारों और उत्थान के लिए व्यापक संवाद स्थापित किया। इन प्रयासों से समाज की स्थिति में सुधार और उनके भविष्य को बेहतर बनाने की उम्मीद है।

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